देहरादून: भ्रष्टाचार का मर्ज उत्तराखंड को धीरे-धीरे खोखला कर रहा है।
Uttarakhand officer money laundering
कुछ दिन पहले शासन ने वित्तीय अनियमितताओं, भ्रष्टाचार के आरोपों में पुरोला नगर पंचायत के अध्यक्ष हरिमोहन नेगी को बर्खास्त कर दिया। पूर्व आईएएस रामविलास यादव की भ्रष्टाचार मामले में गिरफ्तारी हुई है, उनके खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग में भी केस चलेगा। भ्रष्टाचार के मामलों में कार्रवाई कर प्रदेश सरकार ने साफ कर दिया है कि भ्रष्टाचारी कोई भी हो, उसे बख्शा नहीं जाएगा। इसी कड़ी में प्रदेश के 10 से ज्यादा अफसरों के खिलाफ भी आय से अधिक संपत्ति रखने के मामले में जांच की जा रही है। विजिलेंस डायरेक्टर वी. मुरुगेशन ने हल्द्वानी में कहा कि आय से अधिक संपत्ति रखने के मामले में 10 से ज्यादा अफसरों के खिलाफ जांच चल रही है। कुछ अधिकारियों से पूछताछ भी हुई है। जो भी भ्रष्टाचार में लिप्त मिलेगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। अगर कोई बड़ा अधिकारी भी भ्रष्टाचार में लिप्त हो तो उसकी शिकायत भी विजिलेंस से की जा सकती है।
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कुमाऊं विजिलेंस संभाग दफ्तर में अधिकारियों संग बैठक के बाद विजिलेंस डायरेक्टर वी. मुरुगेशन ने कहा कि अधिकारियों को लंबित मामलों की जांच में तेजी लाने के निर्देश दिए गए हैं। दरोगा भर्ती घोटाले की जांच तेजी से हो रही है। रिपोर्ट भी जल्द ही आएगी, और दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। विजिलेंस कई मामलों की जांच कर रहा है। भ्रष्टाचार रोकने के लिए शिकायतकर्ता को भी अपने स्टैंड पर कायम रहना होगा। कई मामलों में देखा गया है कि शिकायतकर्ता कार्रवाई के वक्त पीछे हट जाते हैं, जिससे भ्रष्टाचारियों के खिलाफ कार्रवाई नहीं हो पाती। प्रदेश को भ्रष्टाचार मुक्त बनाने के लिए सरकार ने 1064 नंबर जारी किया है। भ्रष्टाचार (uttarakhand officer money laundering) की शिकायत होने पर लोग इस नंबर का इस्तेमाल कर विजिलेंस को सूचित करें।